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लीबिया में संकट, त्रिपोली की ओर बढ़ी सेना, भारतीय दूतावास ने जारी किया हेल्पलाइन नंबर

लीबिया: कर्नल गद्दाफी को सत्ता से हटाए जाने और फिर उनकी हत्या के बाद माहौल बिगड़ गया है. इस स्थिति के बाद लीबिया में नया संकट पैदा हो गया है. विद्रोही बलों के ताकतवर नेता जनरल हफ्तार ने अपनी सेनाओं को त्रिपोली की ओर कूच करने का आदेश दिया है. अब यहां रह रहे भारतीयों की परेशानी बढ़ गई है. उन्हें सावधानी बरतने की सलाह दी जा रही है. साथ ही दूतावास की और से हर संभव मदद की बात कही गई है. दूतावास की ओर से एक हेल्पलाइन नंबर (00218 924201771) जारी किया गया है.

बताया जा रहा है कि जनरल हफ्तार की सेना त्रिपोली से 50 किलोमीटर दूर पहुंच गई है, जहां उनके अन्य सशस्त्र गुटों से संघर्ष की सूचना आ रही है. राजधानी त्रिपोली से ही लीबिया की अंतरराष्ट्रीय मान्यता प्राप्त सरकार अपना कामकाज चलाती है. हफ्तार ने कहा है कि ‘आतंकवाद का खात्मा होने तक उनका अभियान जारी रहेगा.’ संयुक्त राष्ट्र महासचिव एंटोनियो गुटेरेस ने हफ्तार से मुलाकात की, लेकिन कोई नतीजा नहीं निकल सका. संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद ने भी खलीफा हफ्तार से रुकने की अपील की है.

संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद के राजनयिकों ने ब्रिटेन के एक मसौदा प्रस्ताव पर मंगलवार को बातचीत शुरू की, जिसमें कमांडर खलीफा हफ्तार के वफादार सैनिकों के त्रिपोली पर हमला शुरू करने के बाद लीबिया में तत्काल संघर्ष विराम की मांग की गई है. प्रस्तावित मसौदे में चेतावनी दी गई है कि हफ्तार की लीबियन नेशनल आर्मी (एलएनए) का आक्रमण लीबिया की स्थिरता, संयुक्त राष्ट्र की राजनीतिक संवाद की संभावनाओं और संकट के व्यापक राजनीतिक समाधान की संभावनाओं को खतरा पैदा करता है. साथ ही कहा गया कि परिषद मांग करता है कि लीबिया में सभी पक्ष तनाव को तत्काल कम करें, संघर्षविराम के लिए प्रतिबद्ध हों और पूरे लीबिया में शत्रुता की पूर्ण समाप्ति सुनिश्चित करने के लिए संयुक्त राष्ट्र के साथ मिलकर काम करें. बताया जा रहा है कि ब्रिटेन में सोमवार देर रात मसौदा जारी करने के बाद पहले दौर की बातचीत में रूस ने हफ्तार की आलोचना वाले संदर्भों पर आपत्ति जताई. संयुक्त राष्ट्र से बातचीत विफल होने के बाद जनरल हफ्फार ने सेना को त्रिपोली कूच करने का आदेश जारी कर दिया.

विश्व स्वास्थ्य संगठन के मुताबिक लीबिया में त्रिपोली के समीप छिड़ी लड़ाई में कम से कम 147 लोगों की मौत हो गई और 614 लोग जख्मी हुए थे. लीबियाई राजधानी को अपने कब्जे में करने के लिए खलीफा हफ्तार द्वारा संघर्ष छेड़े जाने के बाद से इस संघर्ष में दिन प्रतिदिन लोगों के मौत की संख्या बढ़ रही है. बता दें कि अगस्त 2018 में हिंसा तब शुरू हुई जब चरमपंथियों ने त्रिपोली के दक्षिणी इलाके में हमला किया. इसके बाद उनका स्थानीय सरकार समर्थित चरमपंथी गुटों से संघर्ष चल रहा है.हालांकि संयुक्त राष्ट्र के महासचिव एंटोनियो गुटेरेस 2017 में  त्रिपोली में सुरक्षा व्यवस्था की नाजुक स्थिति और तेल से समृद्ध पूर्वी भाग में छिड़ी लड़ाई का हवाला देते हुए चेतावनी भी जारी कर चुका था कि लीबिया फिर से बड़े पैमाने पर संघर्ष से घिर सकता है.

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