प्रतिदिन
एक खबर और छापों का फालोअप
भोपाल के उद्ध्योग समूह पर छापेमारी के दो दिन बाद आयकर विभाग ने दावा किया है कि छापेमारी के दौरान ७०० करोड़ रुपए की इनकम टैक्स चोरी और २२०० करोड़ की हेराफेरी की बात सामने आई है| इस छापेमरी के पक्ष में ज्यादा और विरोध में कम समर्थन दिख रहा है | मेरे कुछ पाठकों ने मेरे द्वारा बीते कल लिखे गये “प्रतिदिन” ‘मीराबाई ने ओलम्पिक में खोला देश का खाता’ पर मुझसे सवाल पूछे हैं | मेरा सबको उत्तर है-हमारे देश में देश की प्रतिभा की प्रशंसा करने में कंजूसी बरती जाती है इस कारण छापेमारी के फालोअप के स्थान पर मैंने खिलाडी की प्रशंसा को प्राथमिकता दी | पाठक सर्वोपरि होते है तो फालोअप आज |
भारत सरकार के आयकर विभाग ने आरोप लगाया है कि भोपाल के इस उद्ध्योग समूह ने पिछले छह सालों में ७०० करोड़ रुपये की टैक्स चोरी की, २२०० करोड़ रुपये के चक्रीय व्यापार में लिप्त रहा और साथ ही शेयर बाजार के नियमों का उल्लंघन किया| अब तो सब पाठकों को स्पष्ट हो गया है कि मीडिया की छाया में माया का खेल कैसे और कौन- कौन खेल रहा है | उन अति महत्वाकांक्षी लेखकों- पत्रकारों की बात छोड़ दीजिये, जो सरकार से अन्य कहीं से कुछ भी लाभ प्राप्ति के लिए पाले बदलते रहते हैं |समूह के मीडिया एकांश में कार्यरत पत्रकारों व अन्य के साथ पत्रकारों तथा समाज के प्रबुद्ध लोगों का समर्थन है, उद्ध्योग समूह के समर्थक तो यहाँ तक कह रहे हैं “ अगर वेज बोर्ड के हिसाब से वेतन नही मिलता तो नौकरी छोड़ दें |” अखबारी हमाम की हकीकत सबको पता है | पत्रकार को मिलने वाली सुविधा का लाभ सारे संस्थान उठाना चाहते हैं , पर नियमानुसार वेतन नहीं देना चाहते| इस छापे के पक्ष- विपक्ष में खड़े नामचीन लोगों ने भी कभी इस पर बात नहीं की | सरकार जिसने नियमानुसार वेतन न देना अपराध माना वो तो सालों से सो रही है | आयकर विभाग के एक बयान में दावा किया गया है कि इस समूह ने अपने कुछ कर्मचारियों को शेयरधारकों और निदेशकों के रूप में नामित किया था, जिन्हें ऐसी कंपनियों के बारे में जानकारी नहीं थी, जिनके नाम से वे कम्पनिया चल रही हैं |
फालोअप में यह याद दिलाना जरूरी है की २२ जुलाई २०२१ को एक उद्ध्योग समूह के मुंबई, दिल्ली, भोपाल, इंदौर, नोएडा और अहमदाबाद सहित नौ शहरों में फैले कारोबार के साथ २० आवासीय और१२ व्यावसायिक परिसरों के कार्यालयों में तलाशी हुई थी| इस छापेमारी चर्चा संसद से लेकर विदेशी मीडिया तक में हुई | इस छापेमारी के बाद सोशल मीडिया हुई टिप्पणियाँ भी जोरदार हैं | बानगी की तौर दो टिप्पणी – किसी ने लिखा कि वो डरने वाले नहीं हैं, क्योंकि वो सच दिखाते हैं|इसके आगे इसी ने लिखा वे इससे ज्यादा छिपाते हैं | दिल्ली के एक वरिष्ठ सालों से सांसद, से लेकर राष्ट्रपति के समतुल्य पद के मुगालते में कुछ भी करतब कर देते हैं , हर साल वे भारत रत्न हो रहे हैं, की खबर भी देते हैं | उनकी टिप्पणी पर प्रति टिप्पणी आई उन्हें —-रत्न पक्का मिल रहा है |
एक बात और केंद्रीय प्रत्यक्ष कर बोर्ड (सीबीडीटी) ने जारी बयान में कहा कि २२ जुलाई को भोपाल, इंदौर, दिल्ली, अहमदाबाद, नोएडा और कुछ अन्य शहरों में शुरू की गई तलाशी अभी जारी है| आगे की जांच प्रगति पर है| सब जानते हैं कि सीबीडीटी आयकर विभाग के लिए नीतियां तैयार करता है ने अपने बयान में पुष्टि की है, यह समूह अनेक उद्ध्योगों का एक समूह है ,जिसमें मीडिया भी शामिल है | सुधि पाठकों अब तक यही फालोअप है |